किशोर बियानी की कंपनी फ्यूचर रिटेल दिवालिया प्रक्रिया से गुजरने वाली है

किशोर बियानी की कंपनी फ्यूचर रिटेल दिवालिया प्रक्रिया से गुजरने वाली है. NCLT ने बैंक ऑफ इंडिया की उस याचिका को स्वीकार कर लिया है जिसमें दिवालिया कार्यवाही शुरू करने की अपील की गई है .बीते अप्रैल माह में ही बैंक ऑफ इंडिया ने न्यायाधिकरण से फ्यूचररीटेल के खिलाफ प्रक्रिया शुरू करने के लिए अर्जी लगाई थी. फ्यूचर ने 5322.32 करोड रुपए के बकाया कर्ज के भुगतान में चूक की थी. 

अमेजॉन का कहना था कि फ्यूचररीटेल ने अक्टूबर 2020 में आए सिंगापुर मध्यस्थता पंचायत के फैसले का सम्मान नहीं किया हैके खिलाफ प्रक्रिया शुरू करने के लिए अर्जी लगाई थी. फ्यूचर ने 5322.32 करोड रुपए के बकाया कर्ज के भुगतान में चूक की थी. अब एनसीएलटी ने ऐमेज़ॉन की आपत्ति को खारिज कर दिया है. आपको बता दें कि इसी साल मुकेश अंबानी रिलायंस रिटेल फ्यूचर समूह के साथ 24713 करोड़ रुपए का प्रस्तावित सौदा सुरक्षित करदाताओं के इसके खिलाफ मत देने का हवाला देते हुए रद्द कर दिया था .इस वादे पर भी अमेजॉन ने आपत्ति जताई थी और अलग-अलग अदालतों को दरवाजा खटखटाया था.

फ्यूचर रिटेल बैंक ऑफ इंडिया के कर्ज का भुगतान नहीं कर पाने की वजह से डिफॉल्टर बन चुकी है. इसके बाद बैंक ऑफ इंडिया ने अप्रैल 2022 में फ्यूचर रिटेल के खिलाफ NCLT का दरवाजा खटखटाया लेकिन 12 मई को अमेजॉन ने इनसॉल्वेंसी एंड बंकृप्सी कोड के सेक्शन 65 के तहत इस मामले में हस्तक्षेप की अपील दायर की.ऐमेज़ॉन ने कंपनी को दिवालिया घोषित करने की मांग का विरोध करते हुए कहा था कि बैंक ऑफ इंडिया और फ्यूचररीटेल इस मामले में आपस में मिले हुए हैं. ऐमेज़ॉन ने कहा था कि अभी इस मामले में RFL को दिवाला घोषित करने की कार्यवाही शुरू करने से उसके अधिकारों का उल्लंघन होगा.